1. वह ऐसी काैन सी बात रही हाेगी जिसने लेखक काे दिल्ली जाने के लिए बाध्य कर दिया?
उत्तरः उन्हें बेरोजगार होने के कारण किसीने कटु बातें की होगीं जिसे वे बर्दाश्त नहीं कर पाए होगे और दिल्ली चले आए होंगे
2. लेखक काे अंग्रेज़ी में कविता लेखने का अफ़साेस क्याें रहा हाेगा?
उत्तरः लेखक काे अंग्रेज़ी में कविता लेखने का अफ़साेस रहा हाेगा क्योंकि अंग्रेजी राष्ट्रभाषा नही थी।
3. अपनी कल्पना से लिखिए कि वच्चन ने लेखक के लिए ‘नाेट’ मे क्या लिखा हाेगा?
उत्तरः दिल्ली के उकील आर्ट स्कूल में बच्चनजी लेखक के लिए एक नोट छोड़कर गए थे। उस नोट में शायद उन्होंने लिखा होगा कि तुम इलाहाबाद आ जाओ। लेखन में ही तुम्हारा भविष्य निहित है। संघर्ष करने वाले ही जीवन पथ पर अग्रसर होते हैं अत:परिश्रम करो सफलता अवश्य तुम्हारे कदम चूमेगी।
4. लेखक ने बच्चन के व्यक्तित्व के किन-किन रूप काे उभारा हैं?
उत्तरः बच्चनजी अत्यंत कोमल एवं सहृदय मनुष्य थे।
बच्चनजी समय के अत्यंत पाबन्द होने के साथ-साथ कला-प्रतिभा के पारखी थे।
वे ह्रदय से ही नहीं, कर्म से भी परम सहयोगी थे।
बच्चन का स्वभाव संघर्षशील, परोपकारी, फौलादी संकल्पवाला था।
इन सब व्यक्तित्व को उभारा था।
5. बच्चन के अतिरिक्त लेखक को अन्य किन लाेगाें का तथा किस प्रकार का सहयाेग मिला?
उत्तरः बच्चन के अतिरिक्त लोखक को तेजबहादुर सिंह और नरेंद्र शर्मा से रुपयों का सहयोग मिला। उन लोगों ने रुपए देकर कवि की मदद की।
6. लेखक के हिंन्दी लेखन में कदम रखने का क्रमानुसार वर्णन कीजिए।
उत्तरः मित्रों के सहयोग, बच्चन की प्रेरणा और हिन्दी कविता का वातावरण पाकर लेखक हिन्दी में रचनाएँ करने लगे। सन 1933 में लेखक की कुछ कविताएँ सरस्वती व चांद पत्रिका में छपीं। 1937 में लेखक ने बच्चन जी के बताए अनुसार 14 पंक्तियों की कविता को लिखने का प्रयास किया।
7. लेखक ने अपने जीवन में जिन कठिनाइयाें काे झेला है, उनके बारे में लिखिए।
उत्तरः उनके पास धन न होने के कारण वह अपनी स्कूल के फिज नही भर सकते थे, और पिज के बिना कोई स्कूल में दाखिला भी नही दे रहा था। वो बेरोजगार थे, ची.बी के बिमारी के कारण उनकी पत्नी की मृत्यु हो गयी।